Ganesh Chaturthi 2024: शनिवार को गणेश चतुर्थी 2024 की स्थापना, जानें कब होगा शुभ मुहूर्त और तरीके
इस साल Ganesh Chaturthi 2024, 7 सितंबर को शुरू होगा और 10 दिनों तक चलने वाला यह महोत्सव 17 सितंबर को गणपति विसर्जन होकर समाप्त होगा।
महाराष्ट्र में इस त्योहार को मंदिर से लेकर सड़क तक बड़ी धूमधाम से मनाया जाता है। गणपति महराज के मूर्ति को स्थापित करने से पहले जानें कब होगा शुभ मुहूर्त
Ganesh Chaturthi 2024 date: अगर आप भी अपने घर में गणेश चतुर्थी के दिन गणपति महराज के प्रतिमा (मूर्ति) की स्थापना करने जा रहे हैं तो मूर्ति खरीदने से पहले आपको एक बार शुभ मुहूर्त जरूर देखना चाहिए। इस साल का गणेश चतुर्थी (Ganesh Chaturthi) 7 सितंबर 2024 दिन शनिवार से शुरू होगा। गणेश चतुर्थी (Ganesh Chaturthi) इस बाहर 10 दिनों के लिए होगा और इसका समापन अनंत चतुर्भुजी पर होगा।
इस साल का गणेश विसर्जन 17 सितंबर को होगा। इस गणपति त्योहार को मंदिरों से लेकर सड़कों तक मनाते हुए और Ganesh Chaturthi के दिन गणपति बप्पा के नारे लगाते हुए दिखते हैं। गणेश भक्त इस त्यौहार को बहुत ही धूमधाम और आनंदित होकर मानते हैं। इस त्योहार को आप महाराष्ट्र के मुंबई में बहुत ही शानदार तरीके से मानते हैं और वहां का नजारा बहुत ही अद्भुत दिखाई देता है। मुंबई गणेश चतुर्थी की पूजा बहुत ही विधवत मन और तन से की जाती है।
कहा जाता है कि Ganesh Chaturthi के दिन गणेश भगवान धरती पर अवतरित होने के साथ अगले 10 दिनों तक अपने भक्तों को भक्ति करने का अवसर प्रदान करते हैं। इस दिन मंदिर से लेकर बड़े-बड़े पंडालों में तथा बड़े घरों और छोटे घरों में गणेश भगवान की प्रतिमा (मूर्ति) को सुव्यवस्थित ढंग से स्थापित किया जाता है और गणपति बप्पा की विधवा तरीके से पूजा किया जाता है। हर साल भाद्रपद मास के शुक्ल की चतुर्थी से देश भर में गणेश चतुर्थी पर्व का शुभ आरंभ होता है। फिर अनंत चतुर्थी के दिन “गणपत बप्पा मोरिया” कीनन के साथ इस भगवान के प्रतिमा (मूर्ति) का विसर्जित करते हैं।
Shubh muhurt to buy Ganpati Murti (गणपति मूर्ति खरीदने का शुभ मुहूर्त)
6 सितंबर Ganesh Chaturthi 2024, शुक्रवार के दिन अगर आप मूर्ति खरीदने जा रहे हैं तो इस दिन आपको गणेश की मूर्ति शाम के समय खरीदना चाहिए, जिसका शुभ मुहूर्त 6.36 मिनट से लेकर 7:45 मिनट तक होगा। अगर आप शाम के समय मूर्ति नहीं खरीदे हैं, तो उसके बाद रात के समय 11:56 PM लेकर 12:42 AM के बीच आप बप्पा की मूर्ति को खरीद सकते हैं।
वहीं अगर 6 सितंबर को मूर्ति ना खरीद कर 7 सितंबर को गणेश जी की प्रतिमा को खरीद सकते हैं। इस दिन गणेश चतुर्थी का पर्व मनाया जायेगा। इस दिन गणेश पूजा का शुभ मुहूर्त सुबह 11:03 मिनट से लेकर 1:34 मिनट के बीच शुभ मुहूर्त में आप मूर्ति खरीद सकते हैं। इस प्रकार गणेश भगवान की प्रतिमा को स्थापित करने के लिए आपको लगभग 2 घंटे और 31 मिनट का शुभ समय मिलेगा।
अगर आप गणेश भगवान के प्रतिमा को घर लाने के लिए जा रहे हैं तो आपको इस बात का ध्यान रखना होगा कि गणपति बप्पा की मूर्ति बैठी हुई अवस्था में होनी चाहिए ऐसा होने पर आपके घर में सुख शांति बनी रहती है।
(Ganesh Chaturthi 2014 Tithi) गणेश चतुर्थी 2024 तिथि
- गणेश चतुर्थी 6 सितंबर 2024 को दोपहर 3:01 से ही आरंभ हो चुकी है।
- और 7 सितंबर 2024 शाम 7:37 तक रहेगी तथा इसके पश्चात समापन हो जाएगा।
- इस साल 7 सितंबर को गणेश चतुर्थी का शुभ मुहूर्त माना गया है
- गणेश चतुर्थी इस बार 7 सितंबर से 17 सितंबर तक रहने वाला है उसके बाद विसर्जन हो जाएगा।
गणेश चतुर्थी की स्थापना और विधि
भगवान गणेश जी को गणेश चतुर्थी के दिन प्रसन्न करने के लिए आपको क्रमबद्ध तरीके से उनकी पूजा करनी होगी, जिससे मनचाहा फल की प्राप्ति हो सकती है।
- गणेश चतुर्थी के दिन आपको सुबह जल्दी उठकर स्नान कर लेना है।
- इसके बाद एक लाल रंग का कपड़ा एक लकड़ी की चौकी पर बिछा लेना है।
- उसे लाल रंग कपड़े पर आपको सबसे पहले अक्षत रखना है और चंदन से एक स्वस्तिक बना लेना है।
- तत्पश्चात गणपति जी के मूर्ति को वहां पर स्थापित कर देना है।
- गणपति भगवान को स्थापित करते समय पांच बार पापा के के मंत्र का जाप करना है।
- मंत्र है “वक्रतुंड महाकाय सूर्यकोटि समप्रभ। निर्विघ्नम कुरु मे देव सर्वकार्येषु सर्वदा।।”
कहा जाता है कि Ganesh Chaturthi के दिन गणपति बप्पा की पूजा अगर कोई विधि विधान से करता है, तो गणपत जी की आराधना करने से ज्ञान और बुद्धि की प्राप्ति होती है और साथ ही सफलता के योग भी बनते हैं।
Ganesh Chaturthi 2024 पूजा सामग्री
अगर आप गणपति बप्पा की प्रतिमा की स्थापना कर रहे हैं तो आपको कुछ सामग्री की आवश्यकता रहेगी। जैसे- वस्त्र, चंदन, दुर्वा, जनेऊ, अक्षत, दीप, धूप अगरबत्ती, शमी पत्ता, पीले फूल, रोली, मौली, सिंदूर, लौंग, इलायची, सुपारी, इत्र, शहद, गुलाब जल, गंगा जल, हल्दी, अबीर, गुलाल, लाल कपड़ा, पीली सरसों, दियाली, सकोरा, माचिस, नारियल, कलश, कपूर, देशी घी, आम की लकड़ी, चावल, नवग्रह समिधा, हवन सामाग्री, पान के पत्ते पंचामृत, मोदक, मिठाई और विशेष प्रकार व्यंजन का भोग आदि।
Ganesh Chaturthi 2024 गणपति उत्सव मनाने की विधि
गणेश उत्सव आयोजन शुरू करने से पहले आपको पूजा का आरंभ करना है। पूजा के लिए एक सुगंधित मंदिर या पूजा स्थल को तैयार करें जहां पर आपको बप्पा जी की प्रतिमा को स्थापित करना है। उसके बाद गणेश जी की पूजा स्थान पर स्थापित करें। मूर्ति को हमेशा स्वच्छ और सुंदर रखने के लिए आपको पुष्प, दीपक, रोली, अक्षत, धूप, लाल वस्त्र, देवी देवताओं के पुष्प आदि को चढ़ाए।
Ganesh Chaturthi के दिन गणपति बप्पा के पूजा करने की विधि के मुताबिक, आपको घी दिया, रोली, लाल कपड़ा, मिठाई, फल आदि का समावेश करें। इसके बाद गणेश चालीसा आरती और मित्रों का जाप करना चाहिए और भक्तों को गणेश भगवान की प्रसाद को बांटना चाहिए। व्रत का पालन करें और गणेश जी के भजन गए गणेश उत्सव को परिवार के साथ जरूर मनाए।
गणेश भगवान के उत्सव में परिवार के सदस्यों, दोस्तों और पड़ोसियों को भी आमंत्रित करें। और उन्हें भगवान के दर्शन का आनंद प्राप्त करवायें। उत्सव का आसान करने समय मूर्ति को झील नदी या समुद्र में विसर्जित करना चाहिए। गणपति विसर्जन के लिए सभी लोगों को मिलकर गणेश जी की प्रतिमा को पानी में आराम से ले जाना चाहिए।
Ganesh Chaturthi के दिन 12 नामों का जाप
कहा जाता है कि अगर कोई व्यक्ति भगवान के 12 नामों का सुबह और शाम को स्मरण करता है तो उसके कार्य में आने वाली प्रत्येक परेशानियों और बाधाओं को भगवान गणेश दूर कर देते हैं। जिससे वह कष्ट से मुक्त हो जाता है। भगवान गणेश जी को प्रथम पूजन देव के रूप में जाना और माना गया है। ये 12 नाम रक्षा सूत्र का काम करते हैं। रोजगार के शुभारंभ, विवाह के समय, यात्रा के समय वे किसी अन्य शुभ कार्य को करते समय श्री गणपति के मात्रा 12 नामों के जाप से सारे काम सिद्ध हो जाते हैं और सारे रोड़े भी दूर हो जाते हैं। ये नाम कुछ इस प्रकार से निम्नलिखित हैं-
सुंदर मुख वाले – सुमुख
लम्बे पेट वाले – लंबोदर
एक दंत वाले – एकदंताय
विधन को हरने वाले – विधानहर्ता
न्याय करने वाले – विनायक
कपिल वर्ण वाले – कपिल
हाथी के समान मुख वाले – गजानन
विपत्ति का नाशक – विकट
धूये के रंग वाली पटाका वाले – धूम्रकेतु
गुणों के अध्यक्ष – गणाध्यक्ष
चंद्रमा के समान मस्तक वाले – भालचंद्र
विधानों का नाश करने वाले – विघननाशक
Ganesh Chaturthi के दिन कुछ दुर्लभ संयोग
राकेश कुमार शुक्ल, जोकि भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान रूड़की परिसर में स्थित श्री सरस्वती मंदिर के आचार्य हैं। उन्होंने बताया कि इस साल गणेश चतुर्थी की खास बात यह है कि 27 वर्ष के बाद सर्वार्थ सिद्धि योग तथा सिद्धि योग में पड़ रहा है। इसके अतरिक्त शनिवार का शुभ दिन और Ganesh Chaturthi 2024 तिथि के दुर्लभ संयोग से सिद्धि योग का निर्माण भी हो रहा है।
चंद्र दर्शन का नही करना चाहिए दर्शन
इस संबंध में एक कथा है कि जब भगवान गणेश को गज का मुख को लगाया गया तो वह गजानन महाराज के नाम से संबोधित हुए। और इन्होंने अपने माता-पिता के रूप में पृथ्वी की सबसे पहले परिक्रमा करने के कारण अग्रपूज्य बने।
सभी देवी देवताओं ने उनकी प्रशंसा की लेकिन चंद्रमा भगवान मंद-मंद मुस्कुराते हुए नजर आए क्योंकि उनको अपनी सुंदरता पर बहुत घमंड था। गणेश जी को ऐसा लगा कि चंद्रमा जी उनका उपहास करते हुए दिखाई दे रहे हैं। इसलिए भगवान श्री गणेश जी महराज क्रोध में आकर चंद्रमा को श्राप देते हुए कहा कि “जाओ आज से तुम काले हो जाओगे” यह सुनकर चंद्रमा जी को अपनी गलती का एहसास हुआ और उन्होंने गणेश भगवान जी से क्षमा मांगी तो गणेश भगवान ने कहा कि सूर्य के प्रकाश को पकड़ तुम एक दिन पूर्ण प्रकशित हो जाओगे। लोग इस दिन को तुम्हें दंड देने के लिए याद किया जाएगा।
गलती से Ganesh Chaturthi पर चंद्रमा देखने पर करें ये उपाय
कहते हैं कि यदि गलती से Ganesh Chaturthi 2024 के दिन चंद्रमा को देख लें तो उनके दोष को मिटाने के लिए कुछ उपाय कर सकते हैं दोस्त से मुक्ति के लिए सबसे पहले आप को गणेश भगवान की पूजा और स्मरण करना चाहिए। पूजा में उपयोग किए गए फल, फूल, मिठाई आदि को चंद्रमा जी को दिखा कर किसी गरीब व्यक्ति को दान कर दें, और झूठी कलंक की मुक्ति के लिए नीचे लिखे गए मंत्रों का ध्यान पूर्वक स्मरण करें।
“सिंहः प्रसेन मण्वधीत्सिंहो जाम्बवता हतः।
सुकुमार मा रोदीस्तव ह्मेषः स्यमन्तकः।।”
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FAQS:
गणेश जी कब बैठेंगे 2024?
7 सितंबर 2024 को गणेश चतुर्थी (Ganesh Chaturthi ) अर्थात भाद्रपद माह के शुक्ल पक्ष की चतुर्थी को यह मनाया जाता है। पूरे देश में इस दिन गणेश जी महाराज की प्रतिमा का शुभ मुहूर्त में स्थापना की जाती है।
गणेश चतुर्थी 2024 का शुभ मुहूर्त क्या है?
इस साल मनाई जाने वाले गणेश चतुर्थी (Ganesh Chaturthi) पूजा का शुभ मुहूर्त 7 सितंबर 2024 सुबह 10:30 बजे से शुरू होगा। और आप अपने गणपति बप्पा के मूर्ति को स्थापित करके पूजा कर सकते हैं।
गणेश चतुर्थी के दिन क्या करना चाहिए?
इस Ganesh Chaturthi के शुभ अवसर पर गणेश भगवान की मूर्ति की स्थापना करना चाहिए। उसके बाद महाराज गणेश जी के मंत्र ओम गं गणपतये नमो नमः मंत्र का जाप करते हुए पूजा करनी चाहिए। इसके अतिरिक्त आप गणेश चालीसा का पाठ भी कर सकते हैं, इससे आपको ज्ञान और बुद्धि की प्राप्ति होगी।
गणेश चतुर्थी कैसे मनाया जाता है?
इस दिन गणपति बप्पा को घर में विराजमान करके 10 दिनों तक उनकी ध्यान पूर्वक सेवा और पूजन करना चाहिए। 10 दिन पूरे होने पर गणपति बप्पा को विसर्जित कर देते हैं। कहां जाता है कि अगर इस दिन आप व्रत रखें तो गणेश भगवान की पूरे पृथ्वी ध्यान से पूजा करें लेकिन ऐसा माना जाता है कि बिना कथा के यह व्रत अधूरा होता है।
गणेश चतुर्थी के दिन क्या नहीं खाना चाहिए?
गणेश उत्सव के समय भूल कर भी 10 दिन तक यह काम नहीं करना चाहिए। जैसे- मांस, मदिरा का सेवन और तामसिक भोजन को बिलकुल भी ना करें। गणेश चतुर्थी (Ganesh Chaturthi) का व्रत रखने वाले भक्तों को ब्रह्मचर्य का पालन करना चाहिए तान के साथ मन को शुद्ध रखना चाहिए, किसी से विवाद ना करें और साथ ही किसी को अपशब्द गाली क्लोज के साथ पेश नही आना चाहिए।
Conclusion:
आज के आर्टिकल में Ganesh Chaturthi 2024 के बारे में पूरी जानकारी प्रदान करने की कोशिश की गई है। कि कैसे गणपति भगवान को पूछते हैं या उनकी प्रतिमा को स्थापित करते हैं, क्या करना चाहिए और क्या नहीं करना चाहिए। अगर आप भी इस त्योहार को मानते हैं तो कमेंट जरुर करें।
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Disclaimer: दिए गए उपरोक्त आर्टिकल में यह सूचना मात्र साधारण मान्यताओं और जानकारी पर आधारित है। या किसी भी तरह की मान्यता और जानकारी की पुष्टि नहीं करता है। किसी भी जानकारी और मान्यता को अमल में लाने से पहले इससे संबंधित विशेषज्ञों से सलाह जरूर लें।